देहरादून। राजकीय भंडारण निगम की बोर्ड बैठक बुधवार को सहकारिता मंत्री एवं अध्यक्ष डॉ. धन सिंह रावत की अध्यक्षता में हुई। यह बैठक निगम के कामकाज में सुधार के लिए की जा रही विभिन्न पहलों पर चर्चा के लिए आयोजित की गई थी। सहकारिता मंत्री डॉ. रावत ने कहा है कि ऊर्जा खपत की जरूरतों को पूरा करने के लिए निगम अपने गोदामों में सौर पैनल स्थापित करेगा। यह कदम नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों को बढ़ावा देने और निगम के कार्बन पदचिह्न को कम करने की सरकार की प्रतिबद्धता के अनुरूप है। सौर पैनलों की स्थापना से न केवल पारंपरिक ऊर्जा स्रोतों पर निर्भरता कम होगी बल्कि लंबे समय में निगम की लागत में भी बचत होगी। उन्होंने अधिकारियों को सौर पैनल स्थापित करने के निर्देश दिए।
डॉ. रावत ने बताया कि निगम के सभी गोदामों को ऑनलाइन कर दिया गया है। इससे गोदामों का बेहतर प्रबंधन और निगरानी हो सकेगी, जिससे परिचालन में बेहतर दक्षता और पारदर्शिता आएगी। डॉ. रावत द्वारा उजागर की गई महत्वपूर्ण उपलब्धियों में से एक वेयरहाउसिंग डेवलपमेंट एंड रेगुलेटरी अथॉरिटी (डब्ल्यूडीआरए) के साथ सभी गोदामों का 100ः पंजीकरण था। यह उपलब्धि उत्तराखंड को ऐसी उपलब्धि हासिल करने वाला देश का पहला राज्य बनाती है। डब्लूडीआरए के साथ पंजीकरण महत्वपूर्ण है क्योंकि यह सुनिश्चित करता है कि गोदाम नियामक मानकों का अनुपालन करते हैं और भंडारण सुविधाओं का उपयोग करने वाले किसानों और व्यापारियों के लिए फायदेमंद है। डॉ. रावत ने कहा कि राजकीय भंडारण निगम सोमेश्वर, सलोन, रामगढ़ में नए कोल्ड स्टोरेज बनाएगा। यह स्टोरेज फलों, और आलू के लिए होगा। बैठक बैठक की शुरुआत करते हुए प्रबंध निदेशक सिंह सैनी ने निगम की पूरी जानकारी बोर्ड के सामने रखी। सहकारिता मंत्री डॉ रावत ने राजकीय भंडारा उत्तराखंड की तरफ से केंद्रीय राज्य भंडारण निगम नई दिल्ली को 462000 का व सचिव वित्त उत्तराखंड को 462000 का लाभांश का चैक भी सौंपा। बोर्ड बैठक में अपर सचिव वित्त अरुणेंद्र सिंह चैहान, नियोजन विभाग के ओएसडी दिनेश चंद्र वर्मा , केंद्रीय भंडारण निगम के आरएम पवन कुमार केंद्रीय भंडारण निगम के एजीएम सुमित कुमार, स्टेट बैंक के डीजीएम अमरेंद्र कुमार सुमन चार्टर्ड अकाउंटेंट गौतम कथूरिया, निगम प्रबंध निदेशक मान सिंह सैनी, देवेंद्र अधिकारी, गोपाल गुरुरानी मौजूद थे।