देहरादून। सीएसआईआर-भारतीय पेट्रोलियम संस्थान द्वारा यूरोपियन यूनियन एविएशन सुरक्षा एजंसी (ईएएसए) और डीजीसीए के साथ मिलकर सयुंक्त रूप से “ईयू-एसए एपीपी विमानन में पर्यावरण संबंधी मामले संवहनीय विमानन ईंधन को बढ़ावा देने के लिए प्रयासरत यूरोपीय संघ एवं दक्षिण एशिया” विषय पर एक चार दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है।
कार्यशाला का उद्घाटन सीएसआईआर-भारतीय पेट्रोलियम संस्थान में किया गया था और कार्यशाला का चर्चा सत्र मैरियट देहरादून द्वारा फेयरफील्ड में आयोजित किया जा रहा है। इस कार्यशाला का उद्देश्य दक्षिण एशिया और विशेष रूप से भारत में संवहनीय विमानन ईंधन (एसएएफ) की वर्तमान और भविष्य की विकास यात्रा पर चर्चा के लिए विमानन अधिकारियों और संबंधित संगठनों के पर्यावरण केन्द्रित बिंदुओं को एक साथ पुनरू सूचीबद्ध करना है। इस कार्यशाला में ईएएसए, सीएसआईआर-आईआईपी, आईओसीएल, डीजीसीए, एयर इंडिया, इंडिगो, वर्टिस एनवायरनमेंटल फाइनेंस, आईएससीसी, दिल्ली अंतर्राष्ट्रीय विमानपत्तन, लैंजाटेक, प्राज, क्यू8, स्काईएनआरजी, वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम, भारतीय वायुसेना, यूरोपियन कमीशन, एसएफएनएएसए, एयरबस और ईजीजेट के प्रतिनिधि भाग ले रहे हैं।
अपने उद्घाटन भाषण में ईएएसए के कार्लोस मेनेडेज और जूनाव लॉकिअ ने प्रतिभागियों को विमानन क्षेत्र को कार्बन मुक्त करने के लिए किए जाने वाले उपायों और एसएएफ की भूमिका के बारे में जानकारी दी। सीएसआईआर-भारतीय पेट्रोलियम संस्थान के निदेशक डॉ अंजन रे ने भारत में एसएएफ के प्रति भारतीय गठबंधन पर अपने विचार प्रस्तुत किए। इस कार्यशाला में पधारे हुए प्रतिनिधि फीडस्टॉक, आपूर्ति श्रृंखला, एसएएफ अनुमोदित प्रौद्योगिकियों, सीओआरएसआईए प्रमाणन, कार्बन क्रेडिट, और उत्सर्जन, अर्थशास्त्र, नीतियों और की गई पहल और भारतीय परिप्रेक्षय से संबंधित कुछ महत्वपूर्ण पहलुओं पर चर्चा और मंथन करेंगे।