देहरादून: प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की तारीफों के पुल बांध दिए जिससे राजनीतिक गलियारों में हलचल मच गई I
शनिवार को कांग्रेसी प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री के सामने जोशीमठ भूधंसाव की समस्याएं रखीं। जिसमे पूर्व सीएम हरीश रावत भी शामिल थे। इस मुलाकात के बाद हरीश रावत ने मुख्यमंत्री धामी की प्रशंसा में फेसबुक पर पोस्ट शेयर किया।
हरीश रावत ने पोस्ट में लिखा ‘भविष्य के प्रतिद्वंद्वियों को सावधान रहना चाहिये। राज्य के मुख्यमंत्री बहुत अच्छे सुनने वाले व्यक्ति हैं। कल हम जोशीमठ आपदा पर ढेर सारे सुझाव देने के लिए गये। जिसमें कई सुझाव आलोचनात्मक भी थे, तीक्ष्ण सवाल भी थे, मगर मुख्यमंत्री ने पूरे धैर्य के साथ उनको सुना। अब कितना समाधान निकालेंगे, इस पर भविष्य की नजर रहनी चाहिए। देखते हैं प्री-फेब्रिकेटेड घर कब बनने शुरू होते हैं, टेंट कॉलोनी यदि हो तो कब तक लगती है, सुरक्षित स्थानों का चयन कब होता है, मुआवजे की राशि लोगों को कब तक बांटी जाती है, कितना मुआवजा मिलेगा और साधारण लोग जिनकी आजीविका जोशीमठ पर है उनके लिए क्या होता है! गाय के लिए क्या होता है, गाय के दूध पर जिनकी आर्थिकी है उनके लिए क्या होता है, तो बहुत सारी चीजें हैं, जिनकी हम सबको प्रतीक्षा रहेगी। मगर एक बात सत्य है कि सुना मुख्यमंत्री जी ने पूरे धैर्य से।’
शनिवार को कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से मुलाकात कर जोशीमठ में आपदा प्रभावितों की समस्याओं के समाधान की मांग की थी।
प्रतिनिधिमंडल ने बरसात व बर्फबारी के कारण प्रभावितों को हो रही दिक्कतों को उठाने के साथ ही प्रभावितों के लिए प्री-फेब्रिकेटेड घर बनाने का अनुरोध किया था। उन्होंने राहत शिविर में सुविधाओं को नाकाफी बताते हुए इन्हें बढ़ाने पर भी बल दिया।
प्रतिनिधमंडल ने कर्णप्रयाग के विस्थापितों और टिहरी झील के किनारे तीन क्षेत्रों के मकानों में आ रही दरार का विषय भी उठाया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार की मंशा जोशीमठ को लेकर स्पष्ट है। सरकार स्थानीय जनता को राहत देने के लिए हरसंभव कदम उठा रही है। कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने बदरीनाथ विधायक राजेंद्र भंडारी के नेतृत्व में मुख्यमंत्री से मुलाकात की।